- मुख्तार अंसारी मामले पर SC में गर्मागर्म बहस, कहा- 'ये तो फिल्मों की स्क्रिप्ट जैसी कहानी हो गई'
- अंसारी को यूपी ट्रांसफर करने के मामले को लेकर यूपी और पंजाब सरकार आमने-सामने हैं
यूपी के बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी को यूपी ट्रांसफर करने के मामले में कल बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में यूपी और पंजाब सरकारों के बीच फिर गर्मागरम बहस हुई। सुनवाई आज भी जारी रहेगी। यूपी सरकार की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि ये हिन्दी और साउथ की फिल्मों की स्क्रिप्ट जैसी है। उस पर तीस एफ आई आर दर्ज हैं और 14 मामलों में ट्रायल चल रहा है, अचानक 2019 में पंजाब में एक FIR दर्ज कर ली जाती है और पंजाब पुलिस बांदा जेल पहुंचती है और जेल अफसर उसे पंजाब पुलिस को सौंप देते हैं। इसके बाद यूपी के उस जेल अफसर को निलंबित भी किया गया, तभी से वो पंजाब की जेल में है। पता नहीं ये वही मुख्तार अंसारी है या कोई और ? वहां पर कोई चार्जशीट भी दाखिल नहीं हुई, अंसारी ने इसके बावजूद डिफॉल्ट जमानत नहीं कराई। पंजाब पुलिस और अंसारी आपस में मिले हुए हैं और न्यायिक सिस्टम को धोखा दे रहे हैं। यूपी सरकार के वकील ने कहा कि आरोपी मुख्तार अंसारी पंजाब की जेल से ही अपना अवैध कारोबार चला रहा है। इसको लेकर यूपी के मऊ जिले में मुकदमा भी दर्ज किया गया है। 2005 से मुख्तार जेल में है।
29 अप्रैल 2019 और 22 जून 2019 को पंजाब पुलिस ने यूपी में विशेष अदालत को बताया कि आरोपी मुख्तार अंसारी की सेहत नहीं सही है, जबकि इसी दौरान उसे दिल्ली की कोर्ट में पेश किया गया। पंजाब की तरफ से पेश वकील दुष्यंत दवे ने कहा कि क्या कोई राज्य किसी राज्य को आदेश देने के लिए SC में याचिका दाखिल कर सकता है? हाथरस मामले के केरल के पत्रकार का जिक्र करते हुए कहा कि ऐसी स्थिति में वो भी यह मांग कर सकता है कि मैं केरल का रहने वाला हूं तो मेरा मामला केरल में चलाया जाना चाहिए? वहीं मुख्तार के वकील मुकुल रोहतगी ने कहा कि वो पांच बार से विधायक हैं, यूपी में उसके सहयोगी मुन्ना बजरंगी की जेल में हत्या कर दी गई। दो हफ्ते पहले एक अन्य आरोपी को ट्रांजिट रिमांड के दौरान खत्म कर दिया गया, मेरे मुवक्किल की जान को खतरा है। कृष्णानंद राय हत्या मामले में सुनवाई को दिल्ली ट्रांसफर किया गया था, मैं चाहता हूं कि पंजाब के मामले को भी दिल्ली ट्रांसफर किया जाए। कोर्ट ने कहा कि हम आपकी मांग पर ध्यान देंगे।
विदित हो कि पंजाब की जेल में बंद माफिया विधायक मुख्तार अंसारी को वापस उत्तर प्रदेश भेजने के मामले की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई कर रहा है। इस मामले में यूपी और पंजाब सरकार आमने सामने हैं। पिछली सुनवाई में यूपी सरकार की तरफ से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने अपनी दलीलें रखीं तो मुख्तार की तरफ से मुकुल रोहतगी ने पक्ष रखा। इस दौरान रोहतगी ने मुख्तार अंसारी को छोटा आदमी बताते हुए कहा कि यूपी सरकार जानबूझकर उसे परेशान कर रही है।
मुख्तार अंसारी के वकील के बयान पर यूपी की तरफ से पेश हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि ये इतने छोटे आदमी हैं जिनको बचाने के लिए पूरी पंजाब सरकार बेशर्मी से इनके पीछे खड़ी है। तुषार मेहता की बात सुनकर मुकुल रोहतगी ने कहा कि अगर मैं (मुख्तार) इतना ताकतवर हूं तो मुझे सीएम बना दो। यूपी सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में लिखित दलीलें दाखिल करते हुए कहा है कि वह मुख्तार की सुरक्षा और उसके स्वास्थ्य को लेकर प्रतिबद्ध है। यूपी सरकार ने हलफनामे में कहा कि सुप्रीम कोर्ट अपने अधिकारों का इस्तेमाल कर मुख्तार को वापस उत्तर प्रदेश भेजे। यूपी सरकार ने कहा कि मोहाली में दर्ज केस भी प्रयागराज ट्रांसफर किया जाए। उन्होंने कहा कि मुख्तार अंसारी पर प्रयागराज के MP/MLA कोर्ट में जघन्य अपराध के 10 केस दर्ज हैं. बांदा जेल सुपरिटेंडेंट ने बिना MP/MLA कोर्ट की अनुमति पंजाब पुलिस को सौंपा था। उत्तर प्रदेश सरकार के मुताबिक मुख्तार अंसारी के खिलाफ कई बार पेशी वारंट जारी हुआ, लेकिन रोपड़ जेल अधिकारी अंसारी को बीमार बताकर पेशी से इनकार करते रहे।
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